रतन टाटा नहीं रहे। हर कोई दुखी है। हमारे समय में वो पहले ऐसे उद्योगपति है जिनके निधन पर उनके टाटा समूह और टाटा संस का चेयरमैन रहते किए गए जन कल्याणकारी तथा अपने कर्मचारियों और निवेशकों के हित में उठाये गये कदमों को कृतज्ञता से याद किया जा रहा है। देश के लिए टाटा समूह द्वारा किया गया योगदान हमेशा याद रखा जाएगा । मुझे लगता है वो ऐसे अंतिम उद्योगपति भी हैं, क्योंकि अब मानवीय रिश्तों को देखने वाले उद्योगपति कहाँ हैं ? अच्छा हुआ अपने अंतिम दिनों में उन्होंने रुग्ण हो चुके इण्डियन एयरलाइंस को ख़रीदा, जिसे उनके परिवारवालों ने शुरू किया था।
आप सचमुच भारत रत्न हैं। अंतिम सलाम रतन नवल टाटा।
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It's 100% true
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